
कलेक्टर शीलेन्द्र सिंह की अध्यक्षता में सोमवार को कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में छतरपुर विकास योजना 2035 के तहत शहर के सुनियोजित विकास के लिए कार्ययोजना तैयार करने, प्रस्तावित भूमि आवंटन, मार्गों की चौड़ाई और निवेश क्षेत्र विकसित करने के संबंध में बैठक हुई।
इस अवसर पर नगर तथा ग्राम निवेश द्वारा विकास योजना प्रारूप में प्राप्त आपत्तियों पर चर्चा की गई। मास्टर प्लान के अनुसार छतरपुर के सुव्यवस्थित विकास के लिए सुझाव भी आमंत्रित किए गए।
कलेक्टर श्री सिंह ने कहा कि भविष्य में छतरपुर शहर का विकास नई विकास योजना की गाइडलाइन के तहत होगा। शहर के विकास के लिए औद्योगिकीकरण जरूरी हैै। इस क्षेत्र में विकास की बहुत संभावना है, इसलिए मानसिकता में बदलाव कर हमें एकजुट होकर छतरपुर के विकास के लिए प्रयास करना होगा। बैठक में भूमि को व्यवसायिक करने, औद्योगिक क्षेत्रों के निकट आबादी की बसाहट रोकने, ग्रीन बेल्ट तैयार करने, शहर से बायपास तक के एरिया और खेती की जमीन कोे कॉलोनी के रूप में विकसित करने के बारे में उपस्थितजनों के साथ चर्चा कर सुझाव लिए गए।
उल्लेखनीय है कि छतरपुर विकास योजना 2021 की अवधि इस वर्ष समाप्त होगी। छतरपुर शहर का बहुआयामी केन्द्र के रूप में विकास करने के उद्देश्य से छतरपुर विकास योजना 2035 का प्रारूप अनुमानित 3 लाख की जनसंख्या को आधार मानकर तैयार किया गया है। इसमें आवासीय, वाणिज्यिक, औद्योगिक, सार्वजनिक, परिवहन और नगरीय अधोसंरचना उन्नयन का प्रस्ताव है। म.प्र. नगर तथा ग्राम निवेश अधिनियम 1973 के प्रावधान के तहत जनसामान्य और संस्थाओं से प्राप्त आपत्ति-सुझाव के आधार पर विकास योजना प्रस्ताव को अंतिम रूप दिया जाएगा। बैठक के दौरान अगली बैठक की तिथि 16 अप्रैल 2021 निर्धारित की गई है।